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अखिलेश यादव ने आजम खान से इन सीटों पर चर्चा की, कई नामों पर हुआ विचार

By: Ramakant Shukla | Created At: 23 March 2024 05:06 AM


समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव ने शुक्रवार को जेल में बंद सपा के कद्दावर नेता और पूर्व कैबिनेट मंत्री आजम खान से मुलाकात की। इस मुलाकात को आगामी चुनाव को देखते हुए बेहद अहम माना जा रहा। इस दौरान दोनों के बीच पश्चिमी यूपी की कई सीट और प्रत्याशियों को लेकर चर्चा हुई। अखिलेश यादव और आजम खान के बीच करीब एक घंटे तक बातचीत हुई। इस दौरान सपा अध्यक्ष ने रामपुर, बिजनौर, मुरादाबाद समेत आसपास की कई सीटों को लेकर उनसे चर्चा की। इन सीटों पर आजम खान का खासा प्रभाव माना जाता है। मुस्लिमों के बीच भी इसका एक अच्छा संदेश जाएगा। अखिलेश खुद को उनके साथ खड़ा दिखाने की कोशिश कर रहे हैं।

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समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव ने शुक्रवार को जेल में बंद सपा के कद्दावर नेता और पूर्व कैबिनेट मंत्री आजम खान से मुलाकात की। इस मुलाकात को आगामी चुनाव को देखते हुए बेहद अहम माना जा रहा। इस दौरान दोनों के बीच पश्चिमी यूपी की कई सीट और प्रत्याशियों को लेकर चर्चा हुई। अखिलेश यादव और आजम खान के बीच करीब एक घंटे तक बातचीत हुई। इस दौरान सपा अध्यक्ष ने रामपुर, बिजनौर, मुरादाबाद समेत आसपास की कई सीटों को लेकर उनसे चर्चा की। इन सीटों पर आजम खान का खासा प्रभाव माना जाता है। मुस्लिमों के बीच भी इसका एक अच्छा संदेश जाएगा। अखिलेश खुद को उनके साथ खड़ा दिखाने की कोशिश कर रहे हैं।

इन सीटों को लेकर हुई चर्चा

सूत्रों को मुताबिक दोनों नेताओं के बीच पश्चिमी यूपी की सीटों के प्रत्याशियों के नाम को लेकर भी चर्चा हुई। इनमें मुरादाबाद सीट से सपा विधायक कमाल अख्तर, नासिर कुरैशी और मौजूदा सांसद एसटी हसन पर विस्तार से बात हुई है। इसके साथ ही बिजनौर से सीट सपा प्रत्याशी बदल सकती है। यहां से पूर्व मंत्री व विधायक शाहिद मंजूर को टिकट दिया जा सकता है। सपा ने पहले ही बिजनौर सीट से पूर्व सांसद यशवीर सिंह को प्रत्याशी घोषित कर चुकी है। लेकिन, अब उनका टिकट बदला जा सकता है। इस सीट से शाहिद मंजूर को चुनाव लड़ाया जा सकता है। वहीं रामपुर सीट की बात की जाए तो यहां से भी आजम खान के बड़े बेटे अदीब आजम को लड़ने पर चर्चा की गई। हालांकि फाइनल फैसला क्या होगा। ये लिस्ट आने पर ही पता चल पाएगा। यूपी में पहले दो चरणों में 16 सीटों पर चुनाव होना है। इनमें से ज्यादातर सीटें मुस्लिम बहुल क्षेत्र हैं। इन सीटों पर मुस्लिमों का रुख काफी हद तक निर्णायक भूमिका में रहता है। माना जा रहा है कि इस मुलाक़ात के बाद सपा पहले चरण की बाकी बची सीटों पर भी प्रत्याशियों के नाम का एलान कर सकती है।