H

लोकसभा चुनाव के बाद अब उपचुनाव की घड़ी, मप्र में एक राज्यसभा और दो विस सीटों पर मुकाबला तय

By: Ramakant Shukla | Created At: 05 June 2024 08:20 AM


लोकसभा चुनाव के नतीजे आ चुके हैं। इन चुनावों के बाद अगले कुछ दिन तक केंद्र में नई सरकार के गठन की गहमागहमी रहेगी। इसके बाद एक बार फिर चुनाव का शोर शुरू हो सकता है। इसकी वजह यह कि इन चुनावों में मप्र से कांग्रेस और भाजपा दोनों दलों से अनेक विधायक व राज्यसभा सदस्य भी चुनाव लड़े। इनके लोकसभा में पहुंचने का असर यह होगा कि सीट रिक्त हो जाएगी, जिसके लिए उपचुनाव करवाए जाएंगे। मप्र में राज्यसभा की एक सीट के साथ विधानसभा की दो सीटों पर उपचुनाव होगा। अमरवाड़ा विधानसभा सीट पर तो उपचुनाव पहले ही तय हो गया था, क्योंकि यहां पर कांग्रेस से विधायक रहे कमलेश शाह ने पार्टी और विधायकी दोनों से ही इस्तीफा दे चुके हैं। इसके अलावा एक राज्यसभा सीट ज्योतिरादित्य सिंधिया के गुना से लोकसभा चुनाव जीतने के कारण रिक्त होगी, जबकि बुधनी विधानसभा सीट शिवराज सिंह चौहान के विदिशा सीट से जीतने की वजह से खाली होगी।

bannerAds Img
लोकसभा चुनाव के नतीजे आ चुके हैं। इन चुनावों के बाद अगले कुछ दिन तक केंद्र में नई सरकार के गठन की गहमागहमी रहेगी। इसके बाद एक बार फिर चुनाव का शोर शुरू हो सकता है। इसकी वजह यह कि इन चुनावों में मप्र से कांग्रेस और भाजपा दोनों दलों से अनेक विधायक व राज्यसभा सदस्य भी चुनाव लड़े। इनके लोकसभा में पहुंचने का असर यह होगा कि सीट रिक्त हो जाएगी, जिसके लिए उपचुनाव करवाए जाएंगे। मप्र में राज्यसभा की एक सीट के साथ विधानसभा की दो सीटों पर उपचुनाव होगा। अमरवाड़ा विधानसभा सीट पर तो उपचुनाव पहले ही तय हो गया था, क्योंकि यहां पर कांग्रेस से विधायक रहे कमलेश शाह ने पार्टी और विधायकी दोनों से ही इस्तीफा दे चुके हैं। इसके अलावा एक राज्यसभा सीट ज्योतिरादित्य सिंधिया के गुना से लोकसभा चुनाव जीतने के कारण रिक्त होगी, जबकि बुधनी विधानसभा सीट शिवराज सिंह चौहान के विदिशा सीट से जीतने की वजह से खाली होगी।

केपी यादव को भाजपा भेज सकती है राज्यसभा

राज्यसभा के लिए ज्योतिरादित्य सिंधिया का कार्यकाल 2026 तक था। अब यह सीट खाली होने से भाजपा बाकी कार्यकाल के लिए नए प्रत्याशी को राज्यसभा में भेज सकती है। कयास लगाए जा रहे हैं कि केपी यादव को सिंधिया की जगह राज्यसभा में पहुंचने का मौका मिल सकता है। पार्टी ने गुना में केपी का टिकट काटकर ही सिंधिया को उम्मीदवार बनाया था।

कुछ और जगह भी हो सकते हैं उपचुनाव

इसके अलावा प्रदेश में श्योपुर और बीना जैसी विधानसभा सीटें भी है, जहां से कांग्रेस के विधायक पाला बदलकर भाजपा में शामिल हो गए हैं। ये विधायक भी अगर विधायकी से इस्तीफा देते हैं, तो इन सीटों पर भी उपचुनाव की स्थिति बनेगी