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जानें केंद्र में अधिकतम कितने हो सकते हैं मंत्री, मंत्रिमंडल के गठन को लेकर क्या है नियम

By: Ramakant Shukla | Created At: 09 June 2024 07:30 AM


नरेंद्र मोदी आज प्रधानमंत्री पद की शपथ लेंगे। शाम 7:15 बजे राष्ट्रपति भवन में शपथ ग्रहण समारोह होना है। इसके साथ ही मंत्रिमंडल गठन को लेकर भी अटकलें का दौर शुरू हो गया है। पीएम मोदी के साथ मंत्रिपरिषद के सदस्य भी शपथ लेंगे।

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नरेंद्र मोदी आज प्रधानमंत्री पद की शपथ लेंगे। शाम 7:15 बजे राष्ट्रपति भवन में शपथ ग्रहण समारोह होना है। इसके साथ ही मंत्रिमंडल गठन को लेकर भी अटकलें का दौर शुरू हो गया है। पीएम मोदी के साथ मंत्रिपरिषद के सदस्य भी शपथ लेंगे।

संविधान में है ये नियम

केंद्र में मंत्रियों की संख्या का निर्धारण कुल लोकसभा सीटों की संख्या को देखते हुए किया जाता है। संविधान के 91 वें संशोधन अधिनियम के तहत प्रधानमंत्री सहित मंत्रियों की कुल संख्या कुल सांसदों के 15 प्रतिशत से अधिक नहीं होना चाहिए। लोकसभा में 543 सदस्य है, यानी कैबिनेट में 81-82 सांसदों को मंत्री बनाया जा सकता है। जबकि न्यूनतम 12 सांसदों को मंत्री बनाया जा सकता है।

तीन तरह के होते हैं मंत्री

केंद्र में तीन तरह के मंत्री बनाए जाते हैं। जिसमें कैबिनेट मंत्री, राज्य मंत्री और स्वतंत्र प्रभार वाले राज्य मंत्री शामिल होते हैं।

कैबिनेट मंत्री

कैबिनेट मंत्रियों के पास महत्वपूर्ण मंत्रालयों की जिम्मेदारी होती है। यह मंत्री कैबिनेट बैठक में शामिल होते हैं। साथ ही प्रधानमंत्री को सीधे रिपोर्ट करते हैं। कैबिनेट मंत्रियों के पास एक से अधिक विभाग भी हो सकते हैं।

राज्य मंत्री

कैबिनेट मंत्रियों की सहायता के लिए राज्य मंत्री मनाया जाता है। यह मंत्रालय में कैबिनेट मंत्री के जूनियर के तौर पर कार्य करते हैं और प्रधानमंत्री के बजाए कैबिनेट मंत्री को रिपोर्ट करते हैं। राज्य मंत्री कैबिनेट बैठक में शामिल नहीं होता

स्वतंत्र प्रभार राज्य मंत्री

ऐसे विभाग जिन पर काम की जिम्मेदारियां होती है। यहां स्वतंत्र प्रभार के राज्य मंत्रियों की नियुक्ति की जाती है। यह मंत्री भी सीधे प्रधानमंत्री को रिपोर्ट करते हैं, लेकिन कैबिनेट बैठक में शामिल नहीं होते।