देवी अहिल्या की 300वीं जयंती को इंदौर शहर गौरव दिवस के रूप में मना रहा है। बीते दो दिन से शहर में अनेक आयोजन इस उपलक्ष्य मे हो रहे हैं। शुक्रवार को सुबह अहिल्या प्रतिमा पर सुमधुर लहरियों के बीच माल्यार्पण किया जाएगा। इसके अलावा अभय प्रशाल में भी एक बड़ा आयोजन होगा। शहर के पुरात्व महत्व के स्थानों पर भी रंगारंग रोशनी की गई है।
गौरव दिवस के मौके पर इंदौर के परस्पर नगर में सुनील मतकर द्वारा निर्देशित अहिल्या मां पर आधारित नाटक की प्रस्तुती दी गई। जिसे काफी सराहा गया। यूथ होस्टल से जुड़े सदस्यों ने महेश्वर में नाइट वाक की और देवी अहिल्या की राजधानी रहे महेश्वर किले का महत्व समझा। यूथ होस्टल के प्रदेशाध्यक्ष अशोक गोलाने ने बताया कि देवी अहिल्या को महेश्वर का किला काफी पसंद था। उन्होंने यहीं से मालवा का शासन चलाया।
सदस्यों ने रात को सहस्त्रधारा नदी तक नाइट ट्रैकिंग भी की। गुरुवार को राजवाड़ा के गणेश हाल मे कलाकारों ने सांस्कृतिक कार्यक्रमों की प्रस्तुति दी। निमाड़ नृत्य, गणगौर नृत्य के अलावा देवी अहिल्या पर आधारित नाट्य प्रस्तुति दी गई।