बंगाल की खाड़ी में सक्रिय चक्रवात ‘मोंथा’ का असर अब धीरे-धीरे मध्य छत्तीसगढ़ की ओर बढ़ रहा है। मौसम विभाग के अनुसार बुधवार, 29 अक्टूबर को प्रदेश के मध्य और दक्षिण हिस्सों में हवाओं की रफ्तार 40-50 किमी प्रति घंटे तक पहुंच सकती है, जबकि कुछ इलाकों में यह 60 किमी प्रति घंटे तक भी जा सकती है।
मौसम विभाग की चेतावनी
मौसम विभाग ने चेतावनी जारी की है कि बुधवार को मध्य और दक्षिण छत्तीसगढ़ में तेज हवाओं के साथ बारिश की संभावना है। चक्रवात का असर अगले 24 घंटे तक जारी रह सकता है।
बिलासपुर, रायगढ़, बस्तर और कांकेर जिलों में हवाओं की गति 50-60 किमी प्रति घंटे तक पहुंच सकती है। लोगों से अपील की गई है कि वे सावधानी बरतें और खुले क्षेत्रों से दूर रहें।
मंगलवार को बिलासपुर में मौसम ने अचानक बदलाव देखा। दिनभर आसमान में घने बादल छाए रहे और शाम होते ही ठंडी हवाओं ने गर्मी से राहत दी। कई इलाकों में हल्की बूंदाबांदी भी हुई, जिससे शहर का मौसम खुशनुमा हो गया। तापमान में गिरावट आई, लेकिन रात अब भी गर्म रही।
मंगलवार को बिलासपुर में अधिकतम तापमान 29.4 डिग्री और न्यूनतम तापमान 24.2 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया, जो सामान्य से 4.8 डिग्री अधिक था। सुबह से ही आसमान में बादल छाए रहे और उमस का असर था, लेकिन शाम की ठंडी हवाओं और हल्की बूंदाबांदी ने लोगों को राहत दी।
बिलासपुर शहर में बदलते मौसम का असर त्योहारों के बाद की दिनचर्या पर भी पड़ा। लोग सुबह और शाम की हल्की ठंडक का आनंद ले रहे हैं। वहीं, किसान फसलों की सुरक्षा को लेकर सतर्क हैं क्योंकि अचानक बारिश और तेज हवाओं से नुकसान की संभावना बनी हुई है।
उत्तरी छत्तीसगढ़ के जिलों बलरामपुर और सरगुजा में भी बंगाल की खाड़ी में बने निम्नदाब का असर देखा गया। सरगुजा संभाग के कुछ इलाकों में मंगलवार रात बारिश का दौर रहा। बारिश के कारण तापमान में भी गिरावट दर्ज की गई।