


मध्य प्रदेश के बड़वानी जिला मुख्यालय पर सोमवार को नेत्रदान और देहदान के मामले में जिले में पहली बार पुलिस ने गार्ड ऑफ ऑनर दिया। हाल ही में मुख्यमंत्री में देहदान करने वालों के शव को गार्ड आफ ऑनर देने के आदेश दिए थे।
बड़वानी में सोमवार को पहली बार नेत्रदान के साथ देहदान का अनूठा उदाहरण सामने आया। 88 वर्षीय प्रेमादेवी सिंघल का रविवार रात 8:40 बजे निधन हुआ। परिजनों ने पहले नेत्रदान कराया और फिर देह दान कर दिया। प्रेमादेवी पिछले पांच वर्षों से अपनी बेटी और दामाद जगदीश गुप्ता के साथ बड़वानी में रह रही थीं। मुख्यमंत्री मोहन यादव ने 1 जुलाई से देहदान करने वालों को गार्ड ऑफ ऑनर देने की घोषणा की थी।
गार्ड ऑफ ऑनर को लेकर था असमंजस
बड़वानी पुलिस को देहदान के तारत्म्य में गार्ड ऑफ ऑनर दिए जाने की जानकारी को लेकर असमंजस था। क्योंकि इसके पहले ऐसा नहीं किया गया था। समाजसेवियों ने सीएम के आदेश की जानकारी प्रदान की। इसके बाद 88 वर्षीय प्रेमादेवी की देह मेडिकल छात्रों के लिए दान दे दी गयी। उनकी देह को सुखसागर मेडिकल कॉलेज जबलपुर ले जाया जा रहा है। इसके लिए स्पेशल एंबुलेंस की व्यवस्था की गई।