


उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने आज रविवार को ‘विमुक्त जाति दिवस’ पर एक बड़ी घोषणा की। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार घुमंतू और विमुक्त जातियों के कल्याण के लिए एक विशेष बोर्ड का गठन करेगी। इसके साथ ही इन जातियों के लोगों को कॉलोनियां और मकान उपलब्ध कराने की योजना पर भी काम किया जाएगा।
सीएम योगी ने कहा कि नट, बंजारा, बावरिया, सासी, कंजड़, कालबेलिया, सपेरा और जोगी जैसी जातियां भारत की वीर जातियां रही हैं। उन्होंने कभी मुगलों के खिलाफ तो कभी अंग्रेजों के खिलाफ साहसिक संघर्ष किया। लेकिन अंग्रेजों ने उनके पराक्रम से भयभीत होकर वर्ष 1871 में ‘क्रिमिनल ट्राइब्स एक्ट’ लागू किया और इन जातियों को जन्म से अपराधी घोषित कर दिया। आजादी के बाद भी यह कलंक 1952 तक कायम रहा। बाबा साहेब भीमराव अंबेडकर के प्रयासों से 31 अगस्त 1952 को इन जातियों को इस अन्याय से मुक्ति मिली।
मुख्यमंत्री ने कहा कि ‘विमुक्त जाति दिवस’ उस ऐतिहासिक क्षण की याद दिलाता है, जब इन समुदायों को वास्तविक आजादी का अनुभव हुआ। उन्होंने बताया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में पिछले 11 वर्षों में केंद्र और राज्य सरकारों ने इन जातियों के कल्याण के लिए कई कदम उठाए हैं। यूपी में शिक्षा और आवास से जुड़ी कई योजनाएं लागू की गई हैं।
सीएम योगी ने बताया कि प्रदेश के 9 जिलों में जय प्रकाश नारायण सर्वोदय विद्यालय संचालित हो रहे हैं। इसके अलावा 2 आवासीय आश्रम पद्धति विद्यालय शुरू हो चुके हैं, जबकि 101 आवासीय विद्यालय पहले से चल रहे हैं। यहां छात्रों के रहने, खाने और यूनिफॉर्म तक की पूरी व्यवस्था सरकार कर रही है। साथ ही 264 अनुसूचित जाति छात्रावासों में विमुक्त जातियों के बच्चों को भी विशेष सुविधा दी जा रही है।
उन्होंने कहा कि जैसे वनटांगिया समाज को राजस्व गांव का दर्जा, मताधिकार, घर, स्कूल और अस्पताल दिए गए, वैसे ही अन्य जातियों को भी लाभ मिला है। मुसहर, कोल, थारू, गौड़, चेरो और सहरिया जातियों के लिए योजनाएं लागू की गईं। साथ ही कुम्हार, निषाद और राजभर समाज को भी सरकारी योजनाओं से लाभ मिला है। अब विमुक्त और घुमंतू जातियों को भी जमीन के पट्टे और मतदान का अधिकार दिया जाएगा।
सीएम योगी ने मंच से ही समाज कल्याण मंत्री असीम अरुण को निर्देश दिया कि घुमंतू जातियों के लिए बोर्ड का गठन किया जाए। उन्होंने विश्वास दिलाया कि जैसे शामली और वनटांगिया मॉडल बने, वैसे ही घुमंतू जातियों के लिए भी योजनाएं लागू होंगी। मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश की पुलिस भर्ती में घुमंतू जातियों के कई युवक-युवतियों का चयन हुआ है। यह इस बात का प्रमाण है कि सरकार बिना भेदभाव सभी को समान अवसर दे रही है।